तुम्हें प्रेम देता रहूँगा


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तुम्हारी घृणा की अग्नि मुझे पूरी तरह नहीं जलाती
किसी मोमबत्ती की तरह
मैं जलता रहता हूँ
तुम्हें प्रेम देता रहता हूँ
अपना अवशेष समेटते हुए।
मोमबत्ती का अवशेष उजाले की उम्मीद है
मेरा अवशेष प्रेम के कालजयी होने का प्रमाण।

तुम्हारी दी गई यातनाएं चिता के साथ नहीं जलती
पुनर्जन्म के बाद
मेरी देह पर उग आती हैं
आजीवन चिपकी रहती हैं
बर्थमार्क बनकर।

सबसे प्रिय व्यक्ति की दी गई यातना है बर्थमार्क
सामुद्रिक शास्त्र में भी नहीं किया गया जिसका उल्लेख।

तुम्हारी झूठी बातों का बोझ
मेरी अस्थियों को कमज़ोर करता है
लगता है जोड़ो का दर्द
मेरी अकाल मृत्यु का कारण बनेगा।
मेरे सिवा किसी और से तुम झूठ न बोलना
इसके बोझ तले लोग वैसे ही कुचले जाएंगे
जैसे कुचले जाते हैं पहिए तले सड़कों पर मेढक।

शुक्र है… घृणा, यातनाओं और झूठी बातों के अलावा
तुम कविता भी दे गई मुझे
और बताया
कविता देह की इकलौती खिड़की है
वक़्त पर खोली न जाए
तो घुटकर मर जाती है भीतर बैठी आत्मा।

कविता मेरी आत्मा को जीवित रखने का साधन है
ताकि हर जन्म में मोमबत्ती की तरह
मैं जलता रहूँ
तुम्हे प्रेम देता रहूँ।

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